पानी निकासी के रास्तों पर कब्जे घर खेत पानी पानी पेड़ मकान क्षतिग्रस्त

पानी निकासी के रास्तों पर कब्जे घर खेत पानी पानी पेड़ मकान क्षतिग्रस्त


मुरादनगर। पुरखों के बनाए गए पानी निकासी के रास्तों पर मामूली से लाभ के लिए लोगों ने कब्जे कर उन्हें बंद कर दिया उसी का कारण है कि क्षेत्र में बारिश ने भारी तबाही मचाई है। किसानों के खेतों में खड़ी फसल डूब गई है पशु चारा सड़ने लगा है यहां तक कि लोगों के घरों में घुसे पानी ने लोगों का बड़ा आर्थिक नुकसान किया। उनके रहने खाने लायक स्थान भी नहीं बचा जिसके कारण लोग शासन प्रशासन को कोस रहे हैं। आपातकाल में सुरक्षा देना प्रशासन का कर्तव्य है लेकिन पानी की निकासी के साधन बंद करने वाले भी इस हालात में नुकसान उठा रहे हैं। इस बार बारिश थोड़ी ज्यादा हो गई लेकिन ऐसे ही समय को देखते हुए बुजुर्गों ने गांव की बस्तियों से लेकर खेतों तक से आवश्यकता से अधिक पानी निकालने के साधन किए थे लेकिन उन पर किसी ने घेर बना लिया किसी ने घर क्षेत्र अधिकांश अधिक पानी निकासी के लिए छोड़ी गई जमीन पर अवैध अतिक्रमण है। गांव खिमावती काकड़ा आदि गांव में इसीलिए बारिश लोगे लिए अभिशाप बन गई शहर में भी हालात ग्रामीण क्षेत्र से अच्छे नहीं है। कई स्थानों पर मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं बहुत से पुराने पेड़ भी जड़ से उखड़ कर ढय गए हैं। इस बारे में गांव के बुजुर्गों से बात हुई उन्होंने बताया कि जहां पहले नालियां चकरोड़ होती थी अब वह अवैध कब्जा धारियों के कब्जे में हैं इससे समस्या ज्यादा विकराल हो रही है।


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